पाक सुंदरियों के जाल में फंस युवा बन रहे आर्इएसआई का मोहरा

भारत को अस्थिर करने के लिए पाकिस्‍तान आए दिन तरह-तरह के हथकंडे अपना रहा है। कभी नशे की तस्‍करी तो कभी सीजफायर का उल्‍लंघन। लेकिन इन सबके अलावा आतंकियाें का प्रशिक्षण शिविर चालने वाली पाकिस्‍तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई भारतीय युवाओं और सैनिकाें को पाक सुंदरियों के प्रेम पास में फांस कर देश्‍ा की गोपनीय सूचनाओं को एकत्र कर रहा है। इस तरह के मामले सीमावर्ती क्षेत्रों में अधिक उजागर हो रहे हैं। चाहे वह पठानकोट का सीमांत क्षेत्र हो या तरनतारन का। खैर जो भी हो पाकिस्‍तानी खु‍फिया एंजेंसी की जड.ें सिविलियन से लेकर सेना, संसद और भारतीय राजनीति तक फैली हैं। यहां कि वह पंजाब में चंद खालिस्‍तानी समर्थकों तक को भी साधने में भी पीछे नहीं हैं।
 पिछले माह 29 मार्च को अमृतसर के चाटीविंड क्षेत्र से जिला पुलिस व सेना की टीम द्वारा पाक खुफिया एजेंसी आईएसआई के लिए काम करने के आराेप में पकडे गए युवक से जो खुलासे हुए हैं वह बेहद चौकाने वाले हैं। पंजाब के जिला मोगा के गांव डाले निवासी रवि कुमार ने बताया कि वह शीतल पेय बनाने वाली एक कंपनी में काम करता है। करीब एक साल पहले फेसबुक पर उसकी दोस्‍ती पाकिस्‍तान की एक युवती से हुई। धीरे-धीरे यह दोस्‍ती प्‍यार में बदल गई और फेसबुक पर ही अंतरंग बातें होने लगी। इसी बीच वह न जाने कब आईएसआई से जुड गया और सेना से संबंधित फोटो व अन्‍य दस्‍तावेज उन्‍हें मुहैया करवाने लगा। आरंभीक पूछताछ में रवि ने काउंटर इंटेलीजेंस को बताया कि उसे आईएसआई में 20 फरवरी को दुबई भेजा था और वहीं पर उसे पाक खुफिया एजेंसी के लिए काम करने को प्रशिक्षित किया गया। रवि ने बताया कि उसको इस काम के लिए दुबई से ही उसे पैसा भेजा जा रहा था। काउंटर इंटेलीजेस के इंस्‍पेक्‍टर गुरिंदर पाल सिंह नागरा ने बताया कि उन्‍हें सूचना मिली थी कि चाटीविंड क्षेत्र में रह रहा एक युव सेना की जासूसी करता है। उन्‍हों बताया कि पकडे गए युवक से सेना की गतिविधियों से जुडी सूचनाएं, सैन्‍य प्रतिष्‍ठान की जानकारी, हाथ से बने नक्‍से, फोटोग्राफ्स व अन्‍य गोपनीय दस्‍तावेज बरामद किए हैं। इस तरह का यह पहला ऐसा मामला नहीं है इससे पहल भी इसी साल जनवरी 2018 में पंजाब के गुरदासपुर जिले की बटाला तहसील के गांव शिखर मसियां निवासी 21 वर्षिय ज्ञानवीर को बीएसएफ की जासूसी करने और गोपनीय दस्‍तावेज पाकिस्‍तानी ख्‍ुाफिया एंजेंसी को उपलब्‍ध करवाने के आरोप में तत्‍कालीन एसएसपी उपेंद्रजीत सिंह घुम्‍मन ने गिरफ्तार किया था। इसी तरह चार अप्रैल को भी पंजाब पुलिस ने शहीद भगत सिंह नगर जिले से आईएसआई से संबंध रखनें के आरोप में एक युवक को गिरफ्तार किया था।
पकडा जा चुका है एयरफोर्स का ग्रुप कैप्‍टन भी
-  उल्‍लेखनीय है फरवरी 2018 में दिल्‍ली पुलिस की स्‍पेशल सेल ने एयरफोर्स के ग्रुप कैप्‍टन अरूण मारवाह को दिल्‍ली से भारतीय खुफिया सूचनाएं आईएसआई को लीक करने के आरोप में काबू किया था। ग्रुप कैप्‍टन अरूण कुमार भी अमृतसर के रवि कुमार की ही तरह पाकिस्‍तानी हसीना की जाल में फंस कर देश से गद़दारी कर रहा था। अरूण कुमार की गिरफ्तारी के बाद जो बात सामने आई उसके मुताबिक गिरफ्तारी से कुछ माह पहले ही वह आईएसआई के एक एजेंट ने लडकी बन कर गुप कैप्‍टन अरूण कुमार मरवाह से संपर्क किया। इसके बाद दोनों ने फ्रेंडशिप बन गई और धीरे-धेरे फेसबुक पर ही दोनों में चेटिंग होने लगी। इस दौरान दोनो एक दूसरे को  अश्‍लील मैसेज भी भेजते थे। लेकिन पाक हसिनाओं की नीली आंखों में ग्रुप कैप्‍टन ऐसा खोया कि भारती संप्रभुता व इसकी सुरक्षा से जुडे गोपनीय दस्‍तावेज पाकिस्‍तान को मुहैया करवाने लगा।
पठानकोट में भी पकडा गया था एयरमैन
इससे पहले भी नवंबर 2015 में पठानकोट स्थित एयरफोर्स में तैनात राजस्‍थान निवासी एयरमैन सुनील कुमार भी सोशल मीडिया पर पाक सुंदरी से दोस्‍ती कर उसकी जाल में फंस गया था। ग्रुप कैप्‍टन अरूण कुमार व रवि की तरह ही सुनील कुमार की भी दोस्‍ती फेसबुक पर आईएसआई एजेंट से हुई थी जो छद्यम प्‍यार में बदल गई। सुनील अभी हाल में एयरफोर्स ज्‍वाईन किया था और उसकी शायद पठानकोट में पहली पोस्टिंग थी। सुनील कुमार ने भी वहीं गलती की जो रवि और अरूण ने की है। सेना और एयरफोर्स से जुडी गोपनीय जानकारी पाकिस्‍तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई को उपलब्‍ध करवाने लगा। इसके बदले हवाला के जरिए एयरमैन सुनील को भी पैसे मिलते थे। और इन्‍हीं पैसों व ईश्‍क के चक्‍कर में वह भी देश के दुश्‍मनों से मिल गया था।
 फरवरी 2016 में इसी पठानकोट के मामून स्थित सेना की 29 डिवीजन हेडक्‍वार्टर में मजदूरी कर रहे ईरसाद को गिरफ्तार किया गयाा था। उसपर आरोप था कि वह सेना की जासूसी कर गोपनीय सूचनाएं और फोटोग्राफ अपने हैंडलर सज्‍जाद को भेजता है और सज्‍जाद यह सूचनाएं पाकिस्‍तान को देता है।
राज्‍य सभा सदस्‍य का निजी सहायक भी फंसा जासूसी के आरोप में
पाकिस्‍तान की खुफियाएंजेंसी आईआएआई की जडें सेना ही नी सदन तक भी फैल गई हैं। कुछ माह पहले समाजबादी पार्टी के एक राज्‍य सभा सदस्‍य के निजी सहायक को भी दिल्‍ली पुलिस ने जासूसी के आरोप में हिरासत में लिया था। इसी अक्‍टूबर 2016 को सुरक्षा एजेंसियों ने राजस्‍थान के जोधपुर के एक वीजा एजेंट को गिरफ्तार किया। यही नहीं रक्षा मंत्रालय के आडिट विभाग में अस्‍थाई कर्मचारी के त्तौर पर तैनात वीरेंद्र कुमार को भी रक्षा सूचनाएं लीक करने के आरोप मं गिफ्तार किया था।
विश्‍व हिंदू परिषद का कार्यकर्ता भी काबू
बीते साल जनवरी 2017 में एटीएस ने जासूसी के आरोप में विश्‍वहिंदू परिषद से संबंध रखने वाले कुछ युवकों को भी आपत्तिजनक दस्‍तावेजों के साथ काबू कर मामला दर्ज किया था। हलांकि उस समय परिषद के नेताओं इन युवकों से किसी भी तरह के संबंधों को नकारा था। एटीएस ने ध्रुव सक्‍सेना, मनीष गांधी, मोहित अग्रवाल, मोहित भारती व संदीप गुप्‍ता सहित दर्जनों लोगों को आईएसआई से संबंध होने के शक में पकड.ा था। इनमें ध्रुव सक्‍सेना को भोपाल जिला भाजयुमों का आईटी सेल का संयोजक बताया गया था।